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छत्तीसगढ़ : अब पार्षद नहीं हम चुनेंगे महापौर और नगर पालिका अध्यक्ष,पर्यटन को उद्योग का दर्जा

OO छत्तीसगढ़ कैबिनेट की बैठक में प्रदेश के नगर पालिक निगमों के महापौर एवं नगर पालिकाओं के अध्यक्ष का निर्वाचन प्रत्यक्ष रीति से कराए जाने का निर्णय लिया है।तदाता ही सीधे इनका चुनाव करेंगे।मतदाता नगरीय निकाय चुनाव में दो वोट करेंगे एक पार्षद के लिए और दूसरा महापौर के लिए।

TTN Desk

रायपुर, 02 दिसम्बर। सोमवार को मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की अध्यक्षता में मंत्रालय महानदी भवन में आयोजित कैबिनेट की बैठक में जो महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए उन पर एक नजर…..

कैबिनेट की बैठक में प्रदेश के नगर पालिक निगमों के महापौर एवं नगर पालिकाओं के अध्यक्ष का निर्वाचन प्रत्यक्ष रीति से कराए जाने का निर्णय लिया है। इसके लिए बैठक में छत्तीसगढ़ नगर पालिक निगम अधिनियम, 1956 (संशोधन) अध्यादेश, 2024 एवं छत्तीसगढ़ नगर पालिका अधिनियम 1961 (संशोधन) अध्यादेश 2024 (प्रत्यक्ष निर्वाचन एवं आरक्षण संबंधित प्रावधान) की विभिन्न धाराओं में संशोधन किए जाने के संबंध में अध्यादेश 2024 के प्रारूप का अनुमोदन किया गया।

O अप्रत्यक्ष निर्वाचन की पिछली सरकार की व्यवस्था बदली

यहां यह उल्लेखनीय है कि अविभाजित मध्य प्रदेश राज्य में 1999 के पूर्व नगर पालिक निगमों में महापौर तथा नगर पालिकाओं के अध्यक्ष का निर्वाचन प्रत्यक्ष रीति से होता था। तत्कालीन सरकार द्वारा नगरीय निकायों के महापौर तथा नगर पालिकाओं के अध्यक्ष का निर्वाचन को अप्रत्यक्ष रीति से कराए जाने का निर्णय लिया था, जिसकी अधिसूचना का प्रकाशन राजपत्र में 12 दिसम्बर 2019 को किया गया था।
उसके बाद प्रदेश में हर नगरीय निकाय चुनाव में पार्षदों का प्रत्यक्ष निर्वाचन मतदाताओं ने अपने वोट से किया और फिर पार्षदों ने बहुमत से महापौर या नगर पालिका/ नगर पंचायत अध्यक्ष का चुनाव किया।अब लिए गए निर्णय से मतदाता ही सीधे इनका चुनाव करेंगे।मतदाता नगरीय निकाय चुनाव में दो वोट करेंगे एक पार्षद के लिए और दूसरा महापौर के लिए।

O आरक्षण नियम में होगा संशोधन

छत्तीसगढ़ शासन के पिछड़ा वर्ग एवं अल्संख्यक विभाग द्वारा मंत्रालय द्वारा त्रिस्तरीय पंचायतों एवं नगरीय निकायों के निर्वाचन में अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रतिनिधित्व एवं आरक्षण के संबंध में स्थानीय निकायों में आरक्षण को एकमुश्त सीमा 25 प्रतिशत को शिथिल कर अन्य पिछड़ा वर्ग की संख्या के अनुपात में 50 प्रतिशत आरक्षण की अधिकतम सीमा तक आरक्षण के प्रावधान की स्वीकृति पिछड़ा वर्ग कल्याण आयोग के प्रतिवेदन में प्राप्त अनुशंसा के अनुसार दी गई है।

छत्तीसगढ़ पंचायत राज अधिनियम, 1993 के अंतर्गत त्रिस्तरीय पंचायती राज संस्थाओं में अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रतिनिधित्व एवं आरक्षण संबंधी प्रावधानों में संशोधन किए जाने हेतु विभिन्न धाराओं में संशोधन किए जाने का निर्णय लिया गया।

O चना क्रय की नई व्यवस्था

मंत्रिपरिषद द्वारा सार्वजनिक वितरण प्रणाली के अंतर्गत पात्र हितग्राहियों को वितरण हेतु नागरिक आपूर्ति निगम को आवश्यक चना उपार्जन, छमडस् ई-ऑक्शन प्लेटफॉर्म के माध्यम से किए जाने की अनुमति दी गई।
यहां यह उल्लेखनीय है कि छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा सार्वजनिक वितरण प्रणाली अंतर्गत राज्य के सभी अनुसूचित विकासखण्डों एवं मॉडा पैकेट क्षेत्र में निवासरत अंत्योदय तथा प्राथमिकता वाले राशन कार्डधारियों को प्रतिमाह 5 रूपए किलो की दर से 2 किलो चना प्रदाय किया जाता है। वर्तमान में छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा चना वितरण योजना के तहत 30 लाख 22 हजार परिवारों को लाभान्वित किया जा रहा है। राज्य को चना वितरण के लिए प्रति माह 6046 टन तथा प्रति वर्ष 72 हजार 52 टन चना की जरूरत होती है। चना का उपार्जन नागरिक आपूर्ति निगम द्वारा किया जाता रहा है। छत्तीसगढ़ सरकार की चना वितरण योजना के माध्यम से हितग्राहियों को उच्च क्वालिटी का चना प्रदाय किया जा सके, इसके लिए मंत्रिपरिषद ने नागरिक आपूर्ति निगम को छमडस् ई-ऑक्शन प्लेटफॉर्म के माध्यम से किए जाने की अनुमति दी गई।

O पर्यटन को उद्योग का दर्जा

मंत्रिपरिषद की बैठक में राज्य में पर्यटन को बढ़ावा तथा योजनाबद्ध विकास के लिए छत्तीसगढ़ पर्यटन विभाग के प्रस्ताव पर राज्य में पर्यटन को उद्योग का दर्जा प्रदान करने का निर्णय लिया गया।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ सरकार की नई औद्योगिक नीति 2024-30 के अंतर्गत पर्यटन, मनोरंजन एवं अन्य सामाजिक सेवा सेक्टर में शामिल के अलावा भारत सरकार एवं छत्तीसगढ़ पर्यटन नीति 2020 में पर्यटन परियोजनाओं हेतु निर्धारित न्यूनतम स्थायी पूंजी निवेश किए जाने पर सामान्य उद्योगों की भांति अनुदान/छूट/रियायत का प्रावधान किया गया है।

O पर्यटन से बनेंगे रोजगार के बड़े अवसर

पर्यटन को उद्योग का दर्जा दिए जाने से प्रदेश में साहसिक, जल पर्यटन, मेडिकल एवं वेलनेस टूरिज्म, एग्रो टूरिज्म, पर्यटन की इकाईयों, लैंड बैंक में निजी निवेश को आकर्षित एवं प्रोत्साहित करने में मदद मिलेगी। इससे स्टेक होल्डर प्रोत्साहित होंगे। पर्यटन संबंधी अधोसंरचना का विकास होगा। पर्यटन से संबंधित पूंजी निवेश बढ़ेगा। राज्य में राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय पर्यटकों के अनुकूल सुख-सुविधाओं का विकास होगा। राज्य में पर्यटन के क्षेत्र में रोजगार के बड़े अवसर सृजित होंगे।

पूर्व मंत्री जयसिंह ने पटना साहिब में की अरदास, मत्था टेक की प्रदेश की खुशहाली की कामना

कोरबा:- छत्तीसगढ़ के पूर्व केबिनेट मंत्री जयसिंह अग्रवाल एक वैवाहिक कार्यक्रम में शामिल होने इन दिनांे पटना (बिहार) प्रवास पर हैं। वैवाहिक कार्यक्रम में शामिल होने से पूर्व आज तख्तश्री हरिमंदिर जी पटना साहिब में पहुंच कर मत्था टेका और अरदास की। उन्होंने मत्था टेक कर छत्तीसगढ़ सहित पूरे देश की खुशहाली एवं अमन चैन तथा सद्भाव के लिए प्रार्थना की।

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व्यवस्था की सराहना की पूर्व मंत्री ने

तख्त श्री हरिमंदिर जी पटना साहिब कमेटी के सदस्यों ने श्री अग्रवाल को गुरूद्वारा का भ्रमण कराया और आवश्यक जानकारी भी दी। यहां रोजाना हजारों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं और मेला जैसा माहौल देख कर श्री अग्रवाल काफी रोमांचित हुए। उन्होंने यहां कमेटी की बेहतर व्यवस्था देख कर और श्रद्धालुओं की आवभगत से काफी प्रसन्नचित नजर आ रहे थे। यहां उन्होंने भंडारे में प्रसाद भी ग्रहण किया। श्री अग्रवाल के साथ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सचिव बी एन सिंह एवं विपीन यादव भी साथ में थे।

अकाल तख्त ने दी सजा : वॉशरूम साफ करेंगे सुखबीर सिंह बादल,पिता प्रकाश बादल का सम्मान भी लिया वापस

TTN Desk

श्री अकाल तख्त साहिब में तन्खैइया घोषित हो चुके सुखबीर बादल और उनकी तत्कालीन कैबिनेट में रहे मंत्रियों को धार्मिक सजा सुनाते हुए श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदारों ने बड़ा ऐलान किया है। पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री और दिवंगत नेता प्रकाश सिंह बादल को दिया गया फख्र-ए-कौम सम्मान वापस लेने का ऐलान किया गया है। इसके साथ ही सुखबीर बादल को भी धार्मिक सजा सुनाई गई है। दरअसल, ये मामला गुरमीत राम रहीम से जुड़ा हुआ है। आइए जानते हैं इस पूरे मामले के बारे में।

Oसुखबीर बादल ने अपराध कबूला

दरअसल, जिस वक्त पंजाब में गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबियों के मामले हुए उस दौरान पंजाब के सीएम प्रकाश सिंह बादल थे। श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रघबीर सिंह ने कहा- “सुखबीर सिंह बादल ने अपराध कबूल कर लिया है कि उन्होंने जत्थेदार साहिबों को अपने आवास पर बुलाया और गुरमीत राम रहीम को माफी के लिए उन पर दबाव डाला। इस काम में दिवंगत मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल भी शामिल थे। लिहाजा, प्रकाश सिंह बादल को दिया गया फख्र-ए-कौम वापिस लिया जाता है।”

O ये धार्मिक सजा सुनाई गई

श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदारों द्वारा सुखबीर बादल को तन्खैइया घोषित किए जाने के बाद धार्मिक सजा सुनाई गई। सुखबीर सिंह बादल सहित कोर कमेटी मेंबर और साल 2015 में कैबिनेट मेंबर रहे नेता 3 दिसंबर को 12 बजे से लेकर 1 बजे तक बाथरूम साफ करेंगे। इसके बाद वो नहाकर लंगर घर में सेवा करेंगे। बाद में श्री सुखमणि साहिब का पाठ करना होगा। सुखबीर सिंह बादल श्री दरबार साहिब के बाहर बरछा लेकर बैठेंगे। उन्हें गले में तन्खैइया घोषित किए जाने की तख्ती पहननी होगी।

1.पहली सजा में सभी वॉशरूम साफ करेंगे।

2.बर्तन साफ करने की भी लगाई गई सेवा।

3.रोजाना एक घंटा करना होगा कीर्तन का सरवन।

4.जनतक समागमों में बोलने पर की गई मनाही।

O इश्तहार का पैसा भी ब्याज सहित लौटाए

श्री अकाल तख्त साहिब द्वारा सुनाई गई सजा में कहा गया है कि सुखबीर सिंह बादल का इस्तीफ़ा मंज़ूर किया जाए। इसके साथ ही डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम को माफ़ी दिए जाने के बाद जो इश्तहार जारी किये गये, उन इश्तहारों के पैसे सुखबीर सिंह बादल, बलविंदर सिंह भून्दड , दलजीत सिंह चीमा, हीरा सिंह गाबाडिया ब्याज सहित देंगे।

महाराष्ट्र अपडेट : रुपाणी,सीतारमन पर्यवेक्षक नियुक्त,मंत्री बनाने शाह ने विधायकों का रिपोर्ट कार्ड मंगाया

गृह मंत्री अमित शाह ने मंत्रिमंडल में शामिल होने के इच्छुक विधायकों का रिपोर्ट कार्ड मांगा है. लोकसभा चुनाव के दौरान संबंधित विधायक का प्रदर्शन कैसा रहा, क्या संबंधित व्यक्ति ने लोकसभा और विधानसभा चुनाव में ईमानदारी से काम किया? ये तो देखना है.

यदि कैबिनेट में कोई महत्वाकांक्षी पूर्व मंत्री है, तो संबंधित मंत्री ने महायुति सरकार के दौरान मंत्रालय में कैसे काम किया? संबंधित व्यक्ति मंत्रालय में काम करने के लिए कितना समय दे रहा था. गठबंधन में अपने घटक दल के विधायकों के साथ मंत्री का व्यवहार कैसा था? मंत्री ने केंद्र और राज्य निधि का आवंटन कैसे किया? क्या ऐसी स्थिति थी कि संबंधित मंत्री गठबंधन को संकट में डाल देंगे? क्या उसने कोई विवादास्पद बयान दिया? अमित शाह ने इन मुद्दों के रिपोर्ट कार्ड के साथ महायुति नेताओं को दिल्ली बुलाया है. महागठबंधन के नेताओं के आज दिल्ली जाने की संभावना है.

गिनी में फुटबॉल मैच के दौरान हिंसा,100 से अधिक की मौत,थाना भी फूंका

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पश्चिमी अफ्रीकी देश गिनी के एन’जेरेकोर शहर में रविवार को फुटबॉल मैच के दौरान हुई हिंसा में 100 से अधिक लोगों की मौत हो गई। यह घटना उस समय हुई जब मैच के दौरान रेफरी के विवादित निर्णय के बाद दर्शकों के बीच झगड़ा शुरू हो गया। स्थानीय अस्पताल के सूत्रों ने बताया कि मरने वालों की संख्या इतनी अधिक है कि शव रखने के लिए जगह भी कम पड़ गई है।

O अस्पतालों में शवों की कतार

एन’जेरेकोर के अस्पताल में शवों की भारी संख्या देखी जा रही है। एक डॉक्टर ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, “अस्पताल के गलियारों और फर्श पर शव पड़े हुए हैं। मुर्दाघर पूरी तरह से भरा हुआ है।”

O पुलिस थाने को भी आग लगा दी

इस घटना के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। इन वीडियों में स्टेडियम के बाहर भगदड़ और सड़कों पर अफरा-तफरी का माहौल साफ देखा जा सकता है। गुस्साए प्रदर्शनकारियों ने हिंसा के दौरान एन’जेरेकोर पुलिस स्टेशन पर हमला कर उसे नुकसान पहुंचाया और आग लगा दी।

0 ये रहा हिंसा का कारण

प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, हिंसा की शुरुआत रेफरी द्वारा एक विवादास्पद निर्णय दिए जाने के बाद हुई। इससे नाराज दर्शकों ने हंगामा करना शुरू कर दिया, जो बाद में हिंसक झड़पों में बदल गया। स्थानीय मीडिया ने बताया कि यह मैच गिनी के जुंटा नेता ममादी डौंबौया के सम्मान में आयोजित एक टूर्नामेंट का हिस्सा था।

O सरकार और प्रशासन के कदम

घटना के बाद गिनी सरकार और स्थानीय प्रशासन ने जांच के आदेश दिए हैं। शहर में सुरक्षा बलों की तैनाती बढ़ा दी गई है और स्थिति को नियंत्रण में लाने की कोशिश की जा रही है।

छत्तीसगढ़…देखिए वीडीओ : स्वास्थ्य सुविधा खाट पर…गर्भवती का कांवड़ में 7 किलोमीटर सफर

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छत्तीसगढ़ में खास करके ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवा की खराब स्थिति में सुधार नहीं हो रहा है।कहीं एम्बुलेंस नहीं मिल रही तो कहीं एम्बुलेंस तक गर्भवती को कांवड़ या खाट में ले जाया जा रहा।अब फिर ऐसे ही दो मामले सामने आए है।

O गर्भवती को कांवड़ में लाद कर चले 7 किलोमीटर

सरगुजा जिले के लखनपुर क्षेत्र में गर्भवती महिला को कांवड़ पर ढोकर ग्रामीण 7 किलोमीटर पैदल चले, तब उन्हें एंबुलेंस मिल सकी। महिला को कुन्नी अस्पताल लाया गया, जहां उसका प्रसव हुआ। स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया। यह इलाका लुंड्रा विधानसभा क्षेत्र में है, जहां कई गांव और टोले पहुंचविहीन हैं।
ग्राम कुर्मेन के बरढोंड़गा पारा के पारस मझवार की पत्नी बिनी मझवार को प्रसव पीड़ा शनिवार दोपहर शुरू हुई। परिवारजनों ने एंबुलेंस को फोन किया, लेकिन एंबुलेंस ग्राम तिरकेला के कुरमेन तक पहुंची। आगे सड़क खराब और पहाड़ी रास्ता होने के कारण गर्भवती को एंबुलेंस तक लाने कहा गया।

O खाट पर लाए घायल महिला को

मनेन्द्रगढ़ विधानसभा के छिपछिपी गांव की एक घायल महिला रोहिणी प्रसाद को शनिवार शाम को एंबुलेंस सेवा नहीं मिलने के कारण खाट पर रखकर मनेन्द्रगढ़ के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाना पड़ा। बताया जा रहा है कि महिला का पैर बैलों की लड़ाई के दौरान टूट गया था।

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मंत्री के इलाके में ही चरमरा गई है स्वास्थ्य सेवाएं : पूर्व विधायक

वही इस पर प्रतिक्रिया देते हुए पूर्व विधायक गुलाब कमरो ने कहा कि राज्य की स्वास्थ्य व्यवस्था चरमरा चुकी है। मंत्री के क्षेत्र में ऐसी स्थिति है, तो अन्य इलाकों की हालत क्या होगी। स्वास्थ्य सेवाओं को सुधारने के लिए कदम उठाने चाहिए। यह घटना न केवल प्रशासन की नाकामी को उजागर करती है, बल्कि राज्य की प्राथमिक चिकित्सा सेवाओं पर भी सवाल खड़े करती है।

छत्तीसगढ़…देखिए वीडीओ : हेडमास्टर बंदूक ले स्कूल पहुंचा और शिक्षिका को दी गोली से उड़ाने की धमकी…जानिए क्या है पूरा मामला

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छत्तीसगढ़ में पिछले कुछ अरसे से अजब गजब कारनामे सामने आ रहे है।कहीं छात्राओं से गलत हरकत तो कहीं छात्रों से धान कटाई करा रहे है।नशे में धूत अनेक शिक्षकों के वीडियो वायरल हो चुके है।इन सबके बीच अब एक हेड मास्टर द्वारा दुनाली बंदूक ले कर शिक्षिका को धमकाने की घटना सामने आई है।जिसकी शिकायत के बाद हेड मास्टर को सस्पेंड कर दिया गया है।

यह मामला सूरजपुर के बरबसपुर स्थित हाईस्कूूल स्कूल का है। यहां पदस्थ हेडमास्टर सुशील कुमार का एक वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो रहा है। सुशील कुमार कुर्सी पर बैठे हुये है और टेबल पर बंदूक रखकर धमकी दे रहे है। बताया जा रहा है कि प्रधान पाठक नशे की हालत में बंदूक के साथ हाईस्कूूल आये और महिला शिक्षिका को बंदूक दिखाते हुये धमकी देते हुये गोली से उड़ाने की धमकी दे दी। बंदूक टेबल पर रख सामने कुर्सी में पैर चढ़ाए बैठ ये शिक्षक धमकी देने लगे।इसकी शिकायत शिक्षिका ने डीईओ से की। शिकायत को गंभीरता से लेते हुये प्रधानपाठक को सस्पेंड कर दिया गया है।

O शिक्षिका ने अपनी शिकायत में क्या लिखा

” सुशील कुमार कौशिक प्रा.शा. मुसलमानपारा में प्रधानपाठक के पद पर पदस्थ हैं। 21 नवम्बर को सुशील कुमार कौशिक नशे की हालत में बंदूक के साथ हाईस्कूल भवन में आते हैं व मुझे कहते हैं कि मुझे अनुपस्थित क्यों किया गया व उनके द्वारा गोली से उडाने की धमकी दी गई।

चूंकि सुशील कुमार कौशिक 19 नवम्बर को अपनी शाला में अनुपस्थित थे. संकुलवार दैनिक उपस्थिति प्रतिवेदन में जनशिक्षक द्वारा उन्हें अनुपस्थित कर जानकारी भेजा गया था व इसके पश्चात् सुशील कुमार कौशिक के नाम पर कारण बताओ सूचना विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालय द्वारा जारी किया गया था। इस कारण बताओ सूचना का जिम्मेदार मुझे मानते हुए इनके द्वारा मुझे बंदूक से गोली मारने की धमकी दी गई।

पूर्व में भी सुशील कुमार कौशिक की शिकायत सरपंच, पंच व ग्रामवासियों द्वारा लिखित में विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी महोदाय प्रतापपुर को दी गई है कि वे हमेशा नशे की हालत में रहते हैं व स्कूल में कभी सही समय से अध्यापन कार्य नहीं करते हैं।

उक्त घटना से मैं पूरी तरह से डर चुकी हूं व मानसिक रूप से बहुत परेशान हूं, अतः श्रीमान जी से निवेदन है कि उक्त घटना को गंभीरता पूर्वक लेते हुए सुशील कुमार कौशिक पर उचित दण्डात्मक कार्यवाही करने की कृपा करें।”

किसानों का संसद कूच : पुलिस के साथ धक्कामुक्की के बीच महामाया फ्लाईओवर से आगे बढ़े किसान, जाम से त्राहिमाम

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हजारों की संख्या में किसान अपनी मांगों को लेकर आज दिल्ली की ओर कूच कर रहे हैं. इसकी वजह से नोएडा से दिल्‍ली आने वाले रास्‍तों पर लंबा जाम नजर आ रहा है. चिल्ला बॉर्डर, यूपी गेट, महामाया फ्लाइओवर… पर भारी जाम देखने को मिल रहा है. बीते 27 नवंबर से किसान ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण पर और इसके बाद 28 नवंबर से 1 दिसंबर तक यह यमुना प्राधिकरण पर धरना और प्रदर्शन किया, अब आंदोलन के तीसरे और अंतिम चरण यानी आज 2 दिसंबर को वे संसद सत्र के दौरान दिल्ली कूच करने जा रहे हैं. इसके लिए प्रदर्शनकारी किसान पहले महामाया फ्लाई ओवर के पास दोपहर 12 बजे से जुटना शुरू हुए और दिल्ली की ओर ट्रैक्टरों से मार्च शुरू किया।
बीकेपी नेता सुखबीर खलीफा ने मार्च शुरू होने से पहले कहा, “हम दिल्ली की ओर मार्च के लिए तैयार हैं। आज हम महा माया फ्लाईओवर (नोएडा में) के नीचे से दिल्ली की ओर अपना मार्च शुरू करेंगे। दोपहर में, हम सभी वहां पहुंचेंगे और नए कानूनों के अनुसार अपने मुआवजे और लाभ की मांग करेंगे।”

पुलिस ने किसानों को रोकने के लिए दिल्ली की सीमाओं पर बैरियर लगा दिये गए हैं. दिल्ली पुलिस और गौतमबुद्ध नगर पुलिस चेकिंग कर रही है. किसानों को दिल्‍ली में दाखिल होने से रोका जा रहा है. इस बीच कई रूट डायवर्ट किए गए हैं.

O कल क्या हुआ था?

रविवार को संयुक्त किसान मोर्चा के पदाधिकारियों की नोएडा अथॉरिटी, पुलिस और जिला प्रशासन के उच्चाधिकारियों के साथ बैठक हुई. ये बैठक यमुना प्राधिकरण के सभागार में करीब 3 घंटे तक चली. हालांकि, वार्ता विफल रही. किसानों का कहना है कि अधिकारियों ने कोई ठोस आश्वासन नहीं दिया है.

O किसानों की मांग क्या हैं?

किसानों का कहना है कि नए भूमि अधिग्रहण कानून के अनुसार 1 जनवरी 2014 के बाद अधिग्रहित भूमि का 4 गुना मुआवजा दिया जाए. गौतमबुद्ध नगर में 10 साल से सर्किल रेट भी नहीं बढ़ाया गया है. नए भूमि अधिग्रहण कानून के लाभ जिले में लागू किए जाएं. किसान चाहते हैं कि जमीन अधिग्रहण के बदले 10 फीसदी विकसित भूखंड दिया जाए और 64.7 फीसदी की दर से मुआवजा दिया जाए. भूमिधर, भूमिहीन किसानों के बच्चों को रोजगार और पुनर्विकास के लाभ दिए जाएं. हाई पावर कमेटी की सिफारिशें लागू की जाएं. आबादी क्षेत्र का उचित निस्तारण किया जाए. ये सारे निर्णय शासन स्तर पर लिए जाने हैं.

O कब से चल रहा प्रदर्शन?

नोएडा के किसान सोमवार (2 दिसंबर) को दिल्ली की ओर कूच करेंगे. किसानों का कहना है कि आबादी निस्तारण की मांग को लेकर वे तीनों प्राधिकरण (नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना अथॉरिटी) के खिलाफ लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. किसानों ने सबसे पहले महापंचायत की थी. उसके बाद 27 नवंबर को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के बाहर बाहर प्रदर्शन किया. 28 नवंबर से 1 दिसंबर तक यमुना विकास प्राधिकरण के बाहर प्रदर्शन किया. इस दरम्यान अफसरों से बातचीत भी हुई. रविवार को किसानों और अधिकारियों के बीच हाईलेवल बैठक हुई, लेकिन मांगों पर सहमति नहीं बन सकी.

TTN विशेष,देखिए आनंदित करने वाला वीडियो : *इस जट यमला….दीवाना … ने एसईसीएल को नई ऊंचाई पर पहुंचाया….

“मनोज शर्मा”

जी हां,धर्मेंद्र की सुपर हिट फिल्म प्रतिज्ञा के उस दौर में बेहद लोकप्रिय हुए गीत “मैं जट यमला पगला दीवाना में हल्के नीले रंग और पक्के बाल वाले जिस शख्स को आप जवानों को भी शर्मिंदा कर दे वैसे उत्साह के साथ थिरकते देख रहे है,वो कोई और नहीं कोल इंडिया की सिरमौर आनुषांगिक कंपनी एसईसीएल के सीएमडी डॉ प्रेमसागर मिश्रा है। डॉ मिश्रा ने कंपनी को उत्पादन के ऊंचे मुकाम पर भारी चुनौतियों से मुकाबला करते हुए पहुंचाया है।काम में बेहद ईमानदारी और कोई कोताही न बर्दाश्त करने वाले कर्तव्य को समर्पित इस अधिकारी को यूं मुक्त रूप से अपने अधीनस्थ वरिष्ठ अधिकारियों,कर्मचारियों के साथ थिरकते देख हर कोई चौंक उठा।मौका था कंपनी की 40 वीं वर्षगांठ पर मुख्यालय बिलासपुर में आयोजित समारोह का।ऐसे आला अधिकारी ने अपनी इस शैली से यह भी जाहिर कर दिया कि जिस सहयोगियों के सहारे उन्होंने कंपनी को बुलंदी दी उनके साथ खुशियां बांटते वे भी एक आम अधिकारी कर्मचार ही है कोई विशेष व्यक्ति नहीं।उनकी यही बात उन्हें ऐसा मुकाम भी दिया कि उन्हें कंपनी को हासिल सफलता के लिए विभिन्न प्रतिष्ठित सम्मान से भी नवाजा गया।निश्चित ही वे एक मिसाल की तरह सदैव प्रेरित करते रहेंगे। हालांकि वे अगले महीने रिटायर हो रहे है किंतु माना जा रहा की उनकी योग्यता ,कार्यनिष्ठा और अनुभव को देखते हुए नई जिम्मेदारी भी मिल सकती है।40 वर्ष होने पर एस ई सी एल परिवार को हमारी भी बधाई,राष्ट्र की ऊर्जा जरूरत को पूरा करने के लिए निरंतर कीर्तिजक योगदान की अपेक्षा के साथ शुभकामनाएं।

महाराष्ट्र अपडेट : जनता मुझे ही सीएम देखना चाहती है… शिंदे के बयान ने बीजेपी की बैचेनी बढ़ाई,विधायक दल की बैठक फिर टली

OO महाराष्ट्र की नई सरकार के पांच दिसंबर को मुंबई के आजाद मैदान में शपथ लेने के ऐलान के एक दिन बाद केयरटेकर सीएम और शिवसेना के मुखिया एकनाथ शिंदे ने मुख्यमंत्री पद पर अपनी वापसी की जोरदार वकालत की। उन्होंने कहा कि उन्होंने आम आदमी की तरह काम किया है, इसलिए आम आदमी को लगता है कि उन्हें फिर से मुख्यमंत्री होना चाहिए।उनके इस बयान के बाद फिर से बीजेपी और शिंदे शिवसेना के बीच सबकुछ ठीक नहीं होने की अटकलें तेज हो गई है।ये बयान देवेंद्र फडणवीस को भी टेंशन देने वाला है।वहीं पता चला है कि बीजेपी विधायकों की बैठक जो मंगलवार को होने वाली थी वो भी एक दिन आगे टाल दी गई है।

TTN Desk

महाराष्ट्र के कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा है कि जनता चाहती है कि CM वही रहें। शिंदे ने रविवार को इंडियन एक्सप्रेस को दिए इंटरव्यू में कहा है, ‘मैं आम लोगों के लिए काम करता हूं। मैं जनता का मुख्यमंत्री हूं। इसी वजह से लोग मानते हैं कि मुझे ही मुख्यमंत्री बनना चाहिए।’

इससे पहले शिंदे रविवार दोपहर अपने गृह जिले सातारा से मुंबई लौट आए। 29 नवंबर को दिल्ली में शाह से मिलने के बाद वे मुंबई के सारे कार्यक्रम रद्द कर सातारा अपने गांव चले गए थे। रविवार को उन्होंने मीडिया से बातचीत में कहा- मोदी और शाह जिसे मुख्यमंत्री बनाएंगे, मैं उसका समर्थन करूंगा। महायुति में कोई विवाद नहीं है। 2 दिसंबर यानी आज हम CM चुन लेंगे।

सूत्रों के मुताबिक शिंदे की नाराजगी के बीच भाजपा विधायक दल की बैठक की तारीख तीसरी बार बदलने के कयास हैं। अब यह 4 दिसंबर को हो सकती है। पहली बार 29 नवंबर को होने वाली बैठक 1 दिसंबर तय की गई। इसके बाद दोबारा इसे 3 दिसंबर के लिए रखा गया। अब ये फिर 4 दिसंबर के लिए टालने की खबर है। भाजपा ने देवेंद्र फडणवीस का नाम CM के लिए फाइनल कर दिया है। अब औपचारिक घोषणा भर बाकी है।

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